My Thoughts
Tuesday, January 14, 2014
हमसे ना होगा
ये ना कहो पतंगे से,
के शमा को बस ताकता रहे,
संग उसके ना जले ये मुमकिन ना होगा,
या तो बसा लो दिल में या रुखसत कर दो,
कहे हम तुमको दोस्त बस,
ये जुल्म अब हम पर हमसे ना होगा॥
No comments:
Post a Comment
Newer Post
Older Post
Home
Subscribe to:
Post Comments (Atom)
No comments:
Post a Comment